Visit blogadda.com to discover Indian blogs sa(u)ransh: A part of Me !: Tadap

Thursday, August 20, 2009

Tadap

Seeing some one dear to us in pain is the biggest pain
उसका हर आंसू तीर सा चुभता है

उसके दर्द से अपना दिल दुखता है

एक हलकी सी आह भी निकले जो

कई चीखों का शोर सुनायी पड़ता है

सब दुआओं को एक आवाज में सिमटे देखा है

कभी किसी अपने को तड़पते देखा है


अपनी तकलीफे सब छोटी हो जाती है

हम जागते है और राते सो जाती है

हो यदि उसके चहरे पे गम का साया

सारी मुस्कुराह्ते लवो से खो जाती है

खुशियों के बादलो को स्याह होते देखा है

कभी किसी अपने को तड़पते देखा है


जब सूरज भी रौशनी नही फैला पता

चारो पहर हो फैला अजीब सन्नाटा

उजाले और अंधेरे में फर्क नही होता

उसका हाथ थामे चुपचाप बैठे होते है

कितना कुछ कहने को फिर भी चुप रहते है

खामोशियों में बया दर्द समेट है

कभी किसी अपने को तड़पते देखा है

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